भाषाई अराजकता का अंतरराष्ट्रीय दौर

भाषाई अराजकता का अंतरराष्ट्रीय दौर: भारत की विदेश मंत्री के सं.रा.संघ में दिए गए भाषण की चहुंओर चर्चा है। कांग्रेस उसमें से अपने लिए कुछ खोज रही है, भाजपा तो खैर इसे वाकपटुता का चरम निरूपित कर रही है

टिप्पणियाँ

इस ब्लॉग से लोकप्रिय पोस्ट

गांजा खपाने पहुंचे थे, सीतामणी में पकड़ाए

24 लाख का घोटाला मामला: आरोपियों को सुनाई सजा